Madhya pradesh: IPS मनोज कुमार शर्मा नें बचपन में जिंदगी की आम ज़रूरतों के लिए काफी संघर्ष किया है. मनोज कुमार शर्मा का नाम आज पुरे देश में उन लोगों के लिए प्रेरणा बन चुका है जो असफलता को जल्दी स्वीकार कर लेते हैं. 12वीं फेल के नाम से मशहूर IPS अधिकारी मनोज कुमार शर्मा अब इंस्पेक्टर जनरल बन गए हैं.
मनोज कुमार शर्मा का जन्म 3 जुलाई 1975 को मध्य प्रदेश के मुरैना ज़िले से 30km दूर स्तिथ जौरा तहसील के बिलग्राम में हुआ था. इनके पिता रामवीर शर्मा किसान थे, परिवार की आर्थिक स्तिथि अच्छी नहीं थी. मनोज का बचपन आर्थिक तंगी में गुज़रा, जिसके कारण उन्हें पड़ाई में कई दिक्कते आईं. उन्होंने अपनी शुरू की पढ़ाई स्थानीय स्कूल से प्राप्त की इसके बाद ग्वालियर में महारनी लक्ष्मी बाई सरकारी उत्क्रष्टता महाविद्यालय में आगे की पढ़ाई की.
मनोज कुमार शर्मा नें 12वीं की परीक्षा में केवल हिंदी विषय में सफलता हासिल की, असफलता का सामना करने के बाद उन्होंने हार नहीं मानी. दोबारा प्रयास करते हुए ग्रेजुएशन की डिग्री हासिल की और UPSC सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी शुरू की. मनोज कुमार का सपना था भारतीय पुलिस सेवा IPS अधिकारी बनना और इसके लिए उन्होंने बहुत सी कठिनाइयों का सामना किया. अपने सपने को पूरा करने के लिए पढ़ाई जारी रखी हालाँकि फीस भरने और जीवनयापन करने के लिए उन्होंने टेम्पो चलाया, फुटपाथ पर सोए, अमीरों के कुत्ते टहलाए, बाद में वह दिल्ली आए और एक लाइब्रेरी में चपरासी की नौकरी की.
मनोज कुमार शर्मा नें कई असफल प्रयासों के बाद हार नहीं मानी और आखिरकार 2005 में UPSC परीक्षा पास कर ली. दिल्ली में UPSC की पड़ाई जारी रखने के दौरान उनकी मुलाकात श्रद्धा से हुई. श्रद्धा मसूरी से अपने स्टेट PSC की तैयारी के लिए दिल्ली आई हुई थीं. दोनों ने दृष्टि IAS कोचिंग में दाखिला लिया, जहाँ विकास दिव्यकीर्ति ने मनोज को बिना पैसे लिए उन्हें पड़ाई जारी रखनें की अनुमति दी. मनोज और श्रद्धा नें एक दूसरे की मदद करते हुए मेहनत की, और इसी दौरान उनका प्यार भी गहरा हो गया. दोनों ने अपनी कामियाबी हासिल करने के बाद 2005 में शादी कर ली. इनका एक बेटी और एक बेटी है जिनका नाम मानस शर्मा और चिया शर्मा है.
मनोज कुमार शर्मा की पत्नी श्रद्धा जोशी ने उनके जीवन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. उन्होंने हर कदम पर अपने पति का साथ दिया और उन्हें प्रेरित किया. उनके समर्थन और प्रेरणा नें मनोज को कठिनाइयों का सामना करने में मदद की, जिससे वह अपने लक्ष्य को प्राप्त कर सकें. मनोज कुमार कई असफलताओं का सामना करने के बाद IPS Officer बन गए और श्रद्दा जोशी भारतीय राजस्व सेवा ‘IRS’ अधिकारी बन गई.
मनोज कुमार शर्मा कहते है, “मेरी मेहनत कभी व्यर्थ नहीं जाएगी, मैं अपनी असफलताओं को अपने सपने को पूरा करने के लिए प्रेरणा के रूप में देखता हूँ”. इनका यह संघर्ष हमें सिखाता है कि कठिनाइयां जीवन का हिस्सा हैं, लेकिन इरादे और मेहनत से किसी भी लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है. कुछ समय पहले मनोज कुमार शर्मा के जीवन पर इनके मित्र अनुराग पाठक द्वारा लिखी हुई किताब “12th Fail : हारा वही जो लड़ा नहीं” पर 2023 में एक फिल्म रिलीज़ हुई फिल्म का केंद्र इनके जीवन पर आधारित है, जिन्होंने 12वीं कक्षा में फेल होने के बाद बावजूद अपने लक्ष्य को नहीं छोड़ा.